भगवान श्री गणेश को हिन्दू धर्म में प्रथम पूजनीय माना जाता है। हिन्दू धर्म के अनुसार प्रत्येक शुभ कार्य से पहले सर्वप्रथम भगवान गणेश के पूजन का विधान है। इनकी सवारी मूषक यानि चूहा और प्रिय भोग मोदक (लड्डू) है।
हाथी जैसा सिर होने के कारण भगवान गणेश को गजानन भी कहा जाता है। शिवपुत्र, गौरी नंदन जैसे नामों से साथ गणेश जी को विभिन्न प्रांतों में अलग-अलग नाम से भी जाना जाता है जैसे मुंबई में गणेश जी को गणपति बप्पा मोरया के नाम से जाना जाता है। गणेश जी को कई अन्य नामों से भी जाना जाता है। गणेश जी के कुछ प्रमुख नाम निम्न हैं:
गणेश नामवली-108 (108 Names of lord Ganesha)
1. बालगणपति : सबसे प्रिय बालक
2. भालचन्द्र : जिसके मस्तक पर चंद्रमा हो
3. बुद्धिनाथ : बुद्धि के भगवान
4. धूम्रवर्ण : धुंए को उड़ाने वाला
5. एकाक्षर : एकल अक्षर
6. एकदन्त : एक दांत वाले
7. गजकर्ण : हाथी की तरह आंखें वाला
8. गजानन : हाथी के मुख वाले भगवान
9. गजनान : हाथी के मुख वाले भगवान
10. गजवक्र : हाथी की सूंड वाला
11. गजवक्त्र : जिसका हाथी की तरह मुँह है
12. गणाध्यक्ष : सभी गणों के मालिक
13. गणपति : सभी गणों के मालिक
14. गौरीसुत : माता गौरी के पुत्र
15. लम्बकर्ण : बड़े कान वाले
16. लम्बोदर : बड़े पेट वाले
17. महाबल : बलशाली
18. महागणपति : देवो के देव
19. महेश्वर : ब्रह्मांड के भगवान
20. मंगलमूर्त्ति : शुभ कार्य के देव
21. मूषकवाहन : जिसका सारथी चूहा
22. निदीश्वरम : धन और निधि के दाता
23. प्रथमेश्वर : सब के बीच प्रथम आने वाले
24. शूपकर्ण : बड़े कान वाले
25. शुभम : सभी शुभ कार्यों के प्रभु
26. सिद्धिदाता : इच्छाओं और अवसरों के स्वामी
27. सिद्दिविनायक : सफलता के स्वामी
28. सुरेश्वरम : देवों के देव
29. वक्रतुण्ड : घुमावदार सूंड
30. अखूरथ : जिसका सारथी मूषक है
31. अलम्पता : अनन्त देव
32. अमित : अतुलनीय प्रभु
33. अनन्तचिदरुपम : अनंत और व्यक्ति चेतना
34. अवनीश : पूरे विश्व के प्रभु
35. अविघ्न : बाधाओं को हरने वाले
36. भीम : विशाल
37. भूपति : धरती के मालिक
38. भुवनपति : देवों के देव
39. बुद्धिप्रिय : ज्ञान के दाता
40. बुद्धिविधाता : बुद्धि के मालिक
41. चतुर्भुज : चार भुजाओं वाले
42. देवादेव : सभी भगवान में सर्वोपरी
43. देवांतकनाशकारी : बुराइयों और असुरों के विनाशक
44. देवव्रत : सबकी तपस्या स्वीकार करने वाले
45. देवेन्द्राशिक : सभी देवताओं की रक्षा करने वाले
46. धार्मिक : दान देने वाला
47. दूर्जा : अपराजित देव
48. द्वैमातुर : दो माताओं वाले
49. एकदंष्ट्र : एक दांत वाले
50. ईशानपुत्र : भगवान शिव के बेटे
51. गदाधर : जिसका हथियार गदा है
52. गणाध्यक्षिण : सभी पिंडों के नेता
53. गुणिन : जो सभी गुणों के ज्ञानी
54. हरिद्र : स्वर्ण के रंग वाला
55. हेरम्ब : माँ का प्रिय पुत्र
56. कपिल : पीले भूरे रंग वाला
57. कवीश : कवियों के स्वामी
58. कीर्त्ति : यश के स्वामी
59. कृपाकर : कृपा करने वाले
60. कृष्णपिंगाश : पीली भूरि आंख वाले
61. क्षेमंकरी : माफी प्रदान करने वाला
62. क्षिप्रा : आराधना के योग्य
63. मनोमय : दिल जीतने वाले
64. मृत्युंजय : मौत को हरने वाले
65. मूढ़ाकरम : जिनमें खुशी का वास होता है
66. मुक्तिदायी : शाश्वत आनंद के दाता
67. नादप्रतिष्ठित : जिसे संगीत से प्यार हो
68. नमस्थेतु : सभी बुराइयों और पापों पर विजय प्राप्त करने वाले
69. नन्दन : भगवान शिव का बेटा
70. सिद्धांथ : सफलता और उपलब्धियों की गुरु
71. पीताम्बर : पीले वस्त्र धारण करने वाला
72. प्रमोद : आनंद
73. पुरुष : अद्भुत व्यक्तित्व
74. रक्त : लाल रंग के शरीर वाला
75. रुद्रप्रिय : भगवान शिव के चहीते
76. सर्वदेवात्मन : सभी स्वर्गीय प्रसाद के स्वीकर्ता
77. सर्वसिद्धांत : कौशल और बुद्धि के दाता
78. सर्वात्मन : ब्रह्मांड की रक्षा करने वाला
79. ओमकार : ओम के आकार वाला
80. शशिवर्णम : जिसका रंग चंद्रमा को भाता हो
81. शुभगुणकानन : जो सभी गुण के गुरु हैं
82. श्वेता : जो सफेद रंग के रूप में शुद्ध है
83. सिद्धिप्रिय : इच्छापूर्ति वाले
84. स्कन्दपूर्वज : भगवान कार्तिकेय के भाई
85. सुमुख : शुभ मुख वाले
86. स्वरुप : सौंदर्य के प्रेमी
87. तरुण : जिसकी कोई आयु न हो
88. उद्दण्ड : शरारती
89. उमापुत्र : पार्वती के बेटे
90. वरगणपति : अवसरों के स्वामी
91. वरप्रद : इच्छाओं और अवसरों के अनुदाता
92. वरदविनायक : सफलता के स्वामी
93. वीरगणपति : वीर प्रभु
94. विद्यावारिधि : बुद्धि की देव
95. विघ्नहर : बाधाओं को दूर करने वाले
96. विघ्नहर्त्ता : बुद्धि की देव
97. विघ्नविनाशन : बाधाओं का अंत करने वाले
98. विघ्नराज : सभी बाधाओं के मालिक
99. विघ्नराजेन्द्र : सभी बाधाओं के भगवान
100. विघ्नविनाशाय : सभी बाधाओं का नाश करने वाला
101. विघ्नेश्वर : सभी बाधाओं के हरने वाले भगवान
102. विकट : अत्यंत विशाल
103. विनायक : सब का भगवान
104. विश्वमुख : ब्रह्मांड के गुरु
105. विश्वराजा : संसार के स्वामी
105. यज्ञकाय : सभी पवित्र और बलि को स्वीकार करने वाला
106. यशस्कर : प्रसिद्धि और भाग्य के स्वामी
107. यशस्विन : सबसे प्यारे और लोकप्रिय देव
108. योगाधिप : ध्यान के प्रभु
स्थान |
अमृतसर, पंजाब, भारत |
तिथि |
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वार |
शुक्रवार |
नक्षत्र |
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सूर्यौदय |
02 May 2025 05:48:28 |
सूर्यास्त |
02 May 2025 19:06:56 |
चंद्रोदय |
02 May 2025 09:28:39 |
चंद्रस्थ |
03 May 2025 00:30:40 |
योग |
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धृति |
02 May 2025 05:38:28 से 03 May 2025 03:19:41 तक |
शूल |
03 May 2025 03:19:42 से 04 May 2025 01:40:41 तक |
शुभ काल |
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अभिजीत मुहूर्त |
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ब्रह्म मुहूर्त |
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अशुभ काल |
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राहू |
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यम गण्ड |
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कुलिक |
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दुर्मुहूर्त |
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वर्ज्यम् |
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