All Astrology Solutions

All Astrology Solutions

All Astrology Solutions
Dhan Lakshmi Stotra

॥ धनलक्ष्मी स्तोत्र ॥
॥ Dhan Lakshmi Stotra ॥

॥ ॐ गण गणपतये नमः ॥

धनदा उवाच
देवी देवमुपागम्य नीलकण्ठं मम प्रियम् ।
कृपया पार्वती प्राह शंकरं करुणाकरम् ॥

देव्युवाच
ब्रूहि वल्लभ साधूनां दरिद्राणां कुटुम्बिनाम् ।
दरिद्र दलनोपायमंजसैव धनप्रदम् ॥

शिव उवाच
पूजयन् पार्वतीवाक्यमिदमाह महेश्वरः ।
उचितं जगदम्बासि तव भूतानुकम्पया ॥
स सीतं सानुजं रामं सांजनेयं सहानुगम् ।
प्रणम्य परमानन्दं वक्ष्येऽहं स्तोत्रमुत्तमम् ॥

धनदं श्रद्धानानां सद्यः सुलभकारकम् ।
योगक्षेमकरं सत्यं सत्यमेव वचो मम ॥
पठंतः पाठयंतोऽपि ब्रह्मणैरास्तिकोत्तमैः ।
धनलाभो भवेदाशु नाशमेति दरिद्रता ॥

भूभवांशभवां भूत्यै भक्तिकल्पलतां शुभाम् ।
प्रार्थयत्तां यथाकामं कामधेनुस्वरूपिणीम् ॥
धनदे धनदे देवि दानशीले दयाकरे ।
त्वं प्रसीद महेशानि! यदर्थं प्रार्थयाम्यहम् ॥

धराऽमरप्रिये पुण्ये धन्ये धनदपूजिते ।
सुधनं र्धामिके देहि यजमानाय सत्वरम् ॥
रम्ये रुद्रप्रिये रूपे रामरूपे रतिप्रिये ।
शिखीसखमनोमूर्त्ते प्रसीद प्रणते मयि ॥

आरक्त-चरणाम्भोजे सिद्धि-सर्वार्थदायिके ।
दिव्याम्बरधरे दिव्ये दिव्यमाल्यानुशोभिते ॥
समस्तगुणसम्पन्ने सर्वलक्षणलक्षिते ।
शरच्चन्द्रमुखे नीले नील नीरज लोचने ॥

चंचरीक चमू चारु श्रीहार कुटिलालके ।
मत्ते भगवती मातः कलकण्ठरवामृते ॥
हासाऽवलोकनैर्दिव्यैर्भक्तचिन्तापहारिके ।
रूप लावण्य तारूण्य कारूण्य गुणभाजने ॥

क्वणत्कंकणमंजीरे लसल्लीलाकराम्बुजे ।
रुद्रप्रकाशिते तत्त्वे धर्माधरे धरालये ॥
प्रयच्छ यजमानाय धनं धर्मेकसाधनम् ।
मातस्त्वं मेऽविलम्बेन दिशस्व जगदम्बिके ॥

कृपया करुरागारे प्रार्थितं कुरु मे शुभे ।
वसुधे वसुधारूपे वसु वासव वन्दिते ॥
धनदे यजमानाय वरदे वरदा भव ।
ब्रह्मण्यैर्ब्राह्मणैः पूज्ये पार्वतीशिवशंकरे ॥

स्तोत्रं दरिद्रताव्याधिशमनं सुधनप्रदम् ।
श्रीकरे शंकरे श्रीदे प्रसीद मयिकिंकरे ॥
पार्वतीशप्रसादेन सुरेश किंकरेरितम् ।
श्रद्धया ये पठिष्यन्ति पाठयिष्यन्ति भक्तितः ॥

सहस्रमयुतं लक्षं धनलाभो भवेद् ध्रुवम् ।
धनदाय नमस्तुभ्यं निधिपद्माधिपाय च ।
भवन्तु त्वत्प्रसादान्मे धन-धान्यादिसम्पदः ॥

॥ इति श्री धनलक्ष्मी स्तोत्रं सम्पूर्णम् ॥

आज का पंचांग ( Tue 28 Oct 2025 )

स्थान

अमृतसर, पंजाब, भारत

तिथि

  • षष्ठी, 27 Oct 2025 06:05:25 से 28 Oct 2025 08:00:16 तक
  • सप्तमी, 28 Oct 2025 08:00:17 से 29 Oct 2025 09:23:40 तक

वार

मंगलवार

नक्षत्र

  • पूर्वाषाढ़ा, 27 Oct 2025 13:27:40 से 28 Oct 2025 15:45:12 तक
  • उत्तराषाढ़ा, 28 Oct 2025 15:45:13 से 29 Oct 2025 17:29:53 तक

सूर्यौदय

28 Oct 2025 06:47:27

सूर्यास्त

28 Oct 2025 17:40:48

चंद्रोदय

28 Oct 2025 12:40:40

चंद्रस्थ

28 Oct 2025 22:42:06

योग

सुकर्मा

27 Oct 2025 07:26:21 से 28 Oct 2025 07:50:28 तक

धृति

28 Oct 2025 07:50:29 से 29 Oct 2025 07:50:46 तक

शुभ काल

अभिजीत मुहूर्त

  • 28 Oct 2025 11:52:18 से 28 Oct 2025 12:35:51 तक

अमृत काल

  • 28 Oct 2025 10:28:40 से 28 Oct 2025 12:13:50 तक

ब्रह्म मुहूर्त

  • 28 Oct 2025 05:11:06 से 28 Oct 2025 05:59:07 तक

अशुभ काल

राहू

  • 28 Oct 2025 14:57:27 से 28 Oct 2025 16:19:07 तक

यम गण्ड

  • 28 Oct 2025 09:30:47 से 28 Oct 2025 10:52:27 तक

कुलिक

  • 28 Oct 2025 12:14:07 से 28 Oct 2025 13:35:47 तक

दुर्मुहूर्त

  • 28 Oct 2025 08:58:06 से 28 Oct 2025 09:41:39 तक
  • 28 Oct 2025 22:55:42 से 28 Oct 2025 23:48:11 तक

वर्ज्यम्

  • 29 Oct 2025 00:20:13 से 29 Oct 2025 02:03:13 तक